रबि उल अल अव्वल 1446 हिजरी
फरमाने रसूल ﷺ
पहलवान वो नहीं जो कुश्ती लड़ने पर गालिब हो जाए बल्कि असल पहलवान वो है, जो गुस्से की हालत में अपने आप पर काबू पाए।
- सहीह बुखारी
✅ नई दिल्ली : आईएनएस, इंडिया
वक़्फ़ तरमीमी बिल 2024 का जायज़ा लेने वाली ज्वायंट पार्लियामानी कमेटी (जेपीसी) के चेयरमैन बीजेपी एमपी जगदम्बिका पाल के मुताबिक वक़्फ़ तरमीमी (संशोधन) एक्ट 2024 जिसे पार्लियामेंट में जेपीसी के हवाले किया गया था, उसके लिए 3 माह की टाइम लाईन दी गई थी, और कहा था कि जेपीसी की रिपोर्ट को अगले इजलास के पहले हफ़्ते में पेश किया जाना है।
उन्होंने मज़ीद कहा कि वक़्फ़ तरमीमी बिल के स्टेक् होल्डर्स के जेपीसी को जो मश्वरे आ रहे हैं, या उसमें तरमीमात से मुताल्लिक़ जो राय है, उसे सुना जाए। उन्होंने कहा कि हम सबके इत्तिफ़ाक़ के साथ एक जामा रिपोर्ट बनाना चाहते हैं, ताकि ऐसा बिल बनाया जा सके जिसके ज़रीये तालीम और सेहत के शोबों को वक़्फ़ इमलाक के फ़वाइद हासिल किए जा सकें।
जेपीसी के मेंबरान करेंगे दौरा
जेपीसी चेयरमैन पाल ने कहा कि जेपीसी को वक़्फ़ तरमीमी बिल से मुताल्लिक़ एक करोड़ से ज़ाइद ईमेल मौसूल हुए हैं और उसे तर्तीब देने का काम जंगी पैमाने पर किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि जेपीसी के लिए ये मुम्किन नहीं था कि तमाम स्टाक होल्डर्स को मीटिंग में मदऊ किया जा सके इसलिए अब ख़ुद जेपीसी के मेंबरान अलग-अलग रियास्तों का दौरा करेंगे। इसकी शुरुआत 26 सितंबर को मुंबई दौरे से होगी जहां महाराष्ट्र वक़्फ़ बोर्ड के मेंबरान, अकलीयती कमीशन और स्टेक् होल्डर्स के साथ मीटिंग की जाएगी। इसी तरह 27 सितंबर को अहमदाबाद, 28 को हैदराबाद, 30 को चन्नई और एक अक्तूबर को बंग्लूरू में मीटिंग करेंगे जहां केराला के वक़्फ़ बोर्ड मेंबरान को भी बुलाया जाएगा और उनकी बात सुनी जाएगी।
वक्फ बार्ड के काम में शफाकियत लाना मकसद
जनाब पाल ने मज़ीद कहा कि, वक़्फ़ तरमीमी बिल का मक़सद वक़्फ़ बोर्ड की कारकर्दगी में शफ़्फ़ाफ़ियत (पारदर्शिता) लाना है ताकि ग़रीबों , ख़वातीन और पसमांदा तबक़ात को इसका फ़ायदा हासिल हो सके।
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