रबि उल आखिर, 1447 हिजरी
﷽
फरमाने रसूल ﷺ
"तुम अपने लिए भलाई के अलावा कोई और दुआ ना करो क्योंकि जो तुम कहते हो उस पर फरिश्ते आमीन कहते है।"- मुस्लिम
मुस्लिम समाज के जरिये तकवीयत याफ्ता (द्वारा संचालित) सैय्यदी मदरसा, एकता नगर को डिजिटलाइज्ड कर दिया गया है जिसके बाद तुलबा डिजिटल प्लेटफार्म पर ताअलीम हासिल कर रहे हैं। इसके अलावा तुलबा को बेहतर असातजा (टीचर्स) की निगरानी में बेहतर नागरिक बनाने की गरज से स्कूल कोर्स की कोचिंग, स्किल डेवलपमेंट, स्पोकन इंग्लिश, गेम्स, बेसिक कंप्यूटर कोर्स और कांपीटिशन एग्जाम के अलावा दीगर मुतअद्दिद कोर्स की ताअलीम भी दी जा रही है। इस सिलसिले में हाल ही में दशहरा की छुट्टी के मौके पर 28 सितंबर से 5 अक्टूबर तक स्पोकन इंग्लिश क्लासेस लगाई गई। सलीम अहमद खान ने जहां इंग्लिश ग्रामर और रूमैशाह अहमद ने स्पोकन इंग्लिश और प्रेजेंटेशन की ताअलीम दी।
क्लास के आखिरी दिन 5 अक्टूबर को पब्लिक स्पीकिंग कांपीटिशन कराया गया जिसमें बच्चों ने कसीर तादाद में हिस्सा लेकर स्टेज पर अलग-अलग मौजू पर इंग्लिश में अपनी बात रखी। सभी ने कबीले तारीफ प्रेजेंटेशन दिया। मेहमाने खुसूसी भिलाई-3 के शादी भाई (रिटायर्ड, बीएसपी), डॉक्टर नौशाद सिद्दीकी, सरफराज नवाज (सीएसईबी इंजीनियर), इमरान अहमद (फैशन डिजाइनर) मौजूद थे। मुकाबले में जज का किरदार सरफराज भाई ने अदा किया।
मुकाबले से खिताब करते हुए मेहमानों ने तालीम की अहमियत पर जोर देने के साथ ही अपनी पढ़ाई और नौकरी हासिल करने के दौरान पेश आने वाली दिक्कतों का जिक्र किया। उन्होंने ताअलीम की अहमियत को लेकर पैगंबरे इस्लाम 000 की हिदायत का जिक्र करते हुए खुद को तालीमयाफ्ता कर मआशरे में बेहतर पोजीशन हासिल करने और आगे बढ़ाने की सीख दी। ताअलीम के तंई उन्होंने मदरसा इंचार्ज मोहम्मद उमर सिराजी की कोशिशों को सराहा।
ये बच्चे रहे फातेहीन
जज सरफराज नवाज ने फातेहीन बच्चों के नामों का ऐलान किया जिसके मुताबिक पहला इनाम फरहत परवीन, बस स्टैंड, दूसरा इनाम शागुफ्ता परवीन, बस स्टैंड, तीसरा इनाम अनम हक, एकता नगर, चौथा इनाम अब्दुल रूहान, विश्व बैंक कॉलोनी, भिलाई 3, पांचवा इनाम आबिदा कौसर, एकता नगर, भिलाई-3, छठवा इनाम आदिल हुसैन, एकता नगर, सातवां इनाम गौसिया फातिमा, एकता नगर और आठवां इनाम कहकशा बानो, एकता नगर को दिया गया। फातेहीन बच्चों को इनआम-ओ-इकराम से नवाजा गया।
इस मौके पर कमेटी के सदर रुस्तम खान, सेक्रेटरी नसीम खान, कैशियर रईस अहमद व अराकीन तौहीद खान, अजहर खान, अबुल हसन, अब्दुल हुसैन समेत कसीर तादाद में मआशरे के लोग मौजूद थे।
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